देहरादून। प्रदेश में मौसम का मिजाज एक बार फिर बदलने वाला है। मौसम विभाग ने आज पर्वतीय जिलों में बारिश की संभावना जताई है। मौसम विज्ञान केंद्र के अनुसार पर्वतीय इलाकों में गर्जना और बिजली चमकने के साथ बारिश हो सकती है। हालांकि, मैदानी इलाकों में मौसम शुष्क रहने के आसार हैं। मौसम विभाग की ओर से बागेश्वर, पिथौरागढ़, अल्मोड़ा, नैनीताल और चंपावत में बारिश का यलो अलर्ट जारी किया गया है।
उत्तराखंड में दस साल बाद अगस्त में सबसे कम बारिश हुई। महीने भर में राज्य में बारिश का आंकड़ा सामान्य से आठ फीसदी कम रहा। मौसम वैज्ञानिकों का कहना है, बंगाल की खाड़ी में स्ट्रॉन्ग सिस्टम नहीं बना। इसके चलते राज्य में कम बारिश हुई। मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक बिक्रम सिंह ने बताया, अगस्त में बारिश कम होने का कारण अलनीनो का सक्रिय होना भी बताया जा रहा है। जब-जब अलनीनो सक्रिय होता है, तब-तब भारत में मानसून कमजोर पड़ जाता है।
गौरतलब हो कि इस साल मानसून ने पांच दिन की देरी से उत्तराखंड में दस्तक दी थी। हालांकि, प्रदेश के कुछ जिलों में जमकर बारिश हुई। जबकि, कुछ जिलों में बारिश का आंकड़ा सामान्य से कम रहा। मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि इस साल प्रदेश के पहाड़ी इलाकों में बर्फबारी कम होने के साथ बारिश ज्यादा हुई है। इस साल अगस्त में 353.9 एमएम बारिश हुई, जो सामान्य से आठ फीसदी कम है।